श्रीनगर/टिहरी। 4 दिसंबर को नागालैंड में शहीद हुए टिहरी जिले के नौली गांव निवासी सेना के जवान गौतम लाल का पैतृक घाट लक्षमोली में सैन्य सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। इस मौके पर क्षेत्रीय जनप्रतिनिधि, सेना, जिला प्रशासन और पुलिस के अधिकारियों ने उनको अंतिम सलामी दी। शहीद की अंतिम यात्रा में जगह-जगह लोगों ने पुष्पवर्षा कर श्रद्धांजलि दी।
महज 24 साल की उम्र में देश के लिए शहीद हुए गौतम का पार्थिव शरीर मंगलवार सुबह लगभग साढ़े 10 बजे गांव पहुंचा। इस दौरान पूरा वातावरण जब तक सूरज चांद रहेगा गौतम तेरा नाम रहेगा, शहीद गौतम अमर रहे और भारत माता की जय के नारों से गूंज उठा। इसके बाद पार्थिव शरीर को उनके घर ले जाया गया। गौतम के पार्थिव शरीर को देखकर पिता रमेश, माता रुपा समेत भाई और बहन बिलख पड़े।शहीद के अंतिम दर्शन के बाद अंतिम यात्रा निकली। गांव से करीब 16 किलोमीटर दूर स्थित लक्ष्मोली घाट में शहीद गौतम के पार्थिव शरीर पर क्षेत्रीय विधायक विनोद कंडारी, पूर्व मंत्री मंत्री प्रसाद नैथानी व दिवाकर भट्ट, आम आदमी पार्टी नेता कर्नल अजय कोठियाल (सेनि), सेना के अधिकारी कर्नल देवराज चड्ढा, जिलाधिकारी टिहरी इवा श्रीवास्तव, एसएसपी तृप्ति भट्ट, एसडीएम कीर्तिनगर सोनिया पंत, तहसीलदार कीर्तिनगर सुनील राज और यूथ फाउंडेशन के अधिकारियों व प्रशिक्षुओं ने पुष्प चक्र अर्पित किए। शहीद के पार्थिव शरीर से लिपटे तिरंगे को कर्नल देवराज चड्ढा ने उनके पिता रमेश के सुपुर्द किया। इसके बाद सेना के जवानों की टुकड़ी ने तीन रांउड फायर कर शहीद को सलामी दी। शहीद के चचेरे और फुफेरे भाई सूरज और देवेंंद्र ने मुखाग्नि दी। पैरा स्पेशल फोर्स के मेजर कुणाल कुमार और कैप्टन डीके जाखड़ ने शहीद के पिता रमेश को ढंाढस बंधाते हुए कहा कि गौतम ने देश के लिए अपने प्राण न्यौछावर किए हैं। उनके परिवार की जिम्मेदारी सेना की है।
क्षेत्रीय विधायक विनोद कंडारी ने कहा कि शहीद के गांव के समीप स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र हिंसरियाखाल का नामकरण शहीद गौतम के नाम से रखने की मांग मुख्यमंत्री से करेंगे।