देहरादून। पांच वर्ष पूर्व कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हुए कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत को भाजपा ने पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया है। उन्हें मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी कैबिनेट से बर्खास्त करने के साथ ही छह साल के लिए भाजपा की प्राथमिक सदस्यता से भी निष्कासित कर दिया है। बताया जा रहा है कि हरक खुद के साथ-साथ अपनी बहू के लिए भी भाजपा से टिकट मांग रहे थे, जिसे बीजेपी ने पूरा नहीं किया। हरक सिंह रावत कांग्रेस में जा सकते हैं।

उन्होंने कहा कि ने कहा, केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने मुझे दिल्ली में मिलने के लिए बुलाया था। ट्रैफिक के चलते थोड़ी देर हो गई। मैं उनसे और गृह मंत्री अमित शाह से मिलना चाहता था, लेकिन जैसे ही मैं दिल्ली पहुंचा, मैंने सोशल मीडिया पर देखा कि भाजपा ने मुझे निकाल दिया है। हरक सिंह रावत जब ये बात कह रहे थे तब वे अपने आंसू नहीं रोक सके।

बाद में उन्होंने कहा कि अब उन्हें सुकून मिल रहा है। मुझे काम नहीं करने दिया। तमाम कार्यों में व्यवधान डाले गए। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में कांग्रेस की सरकार आ रही है। साथ ही उन्होंने भाजपा के लिए यह भी टिप्पणी करते हुए कहा कि विनाशकाले विपरीत बुद्धि, मैं मिलट्री साइंस का स्टूडेंट रहा हूं। जिस राजा को पराजित होना होता है उसे ऐसी ही बुद्धि मिलती है। हरक सिंह रावत के साथ ही विधायक उमेश शर्मा काऊ के भी कांग्रेस में शामिल होने की चर्चा रही हालांकि उमेश शर्मा ने इस्तीफे की खबरों का खंडन करते हुए कहा है कि बीजेपी में हूं और बीजेपी में ही रहूंगा।